डॉक्टर की लिखावट? अरे अब डरने की जरूरत नहीं!”
हम सब उस पल से गुज़रे हैं — जब डॉक्टर हमें एक पर्चा पकड़ा देते हैं और हम उसे ऐसे देखते हैं जैसे किसी गुप्त भाषा में लिखा हो। फिर दौड़ते हैं मेडिकल स्टोर की तरफ, उम्मीद में कि कम से कम वहां कोई इसे समझ ले।
लेकिन सोचिए, अगर आप खुद डॉक्टर की लिखावट समझने लगें तो? ना बार-बार मेडिकल स्टोर के चक्कर, ना ग़लती से दवा खरीदने की टेंशन! आइए जानें कुछ मज़ेदार और आसान ट्रिक्स जिससे आप बन सकते हैं डॉक्टर-हैंडराइटिंग स्पेशलिस्ट!
1. अंदाज़ा लगाना भी एक आर्ट है!
डॉक्टर का पर्चा हमेशा बिना संदर्भ के नहीं होता। अगर आपको बुखार है और पर्चे में कोई “Para___ol” जैसा दिख रहा है, तो बहुत मुमकिन है कि वो Paracetamol ही हो। मतलब बीमारी से जोड़ कर देखिए, कुछ समझ में आने लगेगा।
2. शॉर्टकट की दुनिया में वेलकम!
डॉक्टर के पास वक्त कम होता है, इसलिए वो लिखते हैं शॉर्ट में:
Tab = Tablet
Cap = Capsule
Inj = Injection
BD = दिन में दो बार
TID/QID = तीन/चार बार
Rx = Prescription
Sx = Symptoms
3. अक्षरों की पहेली सुलझाइए
डॉक्टर की हैंडराइटिंग में P और R, u और n, l और i सब एक जैसे लगते हैं। ट्रिक ये है कि शब्द की शुरुआत और आखिरी अक्षर पकड़ लीजिए। बीच का हिस्सा अंदाज़े से भर दीजिए।
जैसे “C__irizine” दिख रहा है तो शायद Cetirizine है।
4. दवा के नाम – अपने दिमाग की डिक्शनरी में सेव कर लो!
कुछ कॉमन दवाएं हर डॉक्टर लिखता है:
Paracetamol
Ibuprofen
Amoxicillin
Cetirizine
और इनके ब्रांड्स भी याद रखें: Dolo, Crocin, Combiflam वगैरह।
इनके डोज भी अक्सर साथ में होते हैं: 500 mg, 10 ml, etc.
5. खुराक का गणित समझिए
डॉक्टर दवा कैसे और कितनी बार लेनी है, ये भी शॉर्ट में लिखते हैं:
1-0-1 = सुबह और रात एक गोली
0-1-0 = सिर्फ दोपहर
2 tsp = 2 चम्मच
x 5 days = 5 दिन तक
इस “दवा का टाइमटेबल” समझना बहुत जरूरी है।
6. अब टेक्नोलॉजी को दीजिए काम पर लगाम!
पर्चे की फोटो खींचिए और Google Lens से पहचानिए अक्षर।
Medscape, 1mg, Epocrates जैसे ऐप्स भी दवा और उसकी जानकारी के लिए शानदार हैं।
7. आदत डालिए, स्टाइल पकड़िए
हर डॉक्टर की हैंडराइटिंग की एक खास स्टाइल होती है।
कोई लंबी पूंछ वाला ‘y’ लिखता है,
कोई ‘g’ को ‘q’ जैसा बनाता है।
थोड़ी-थोड़ी प्रैक्टिस से आपकी आंखें ये पैटर्न पहचानने लगेंगी।
8. समझ न आए तो पूछना है स्मार्टनेस!
अगर किसी शब्द या दवा में कंफ्यूजन है, तो डॉक्टर से पूछना बिल्कुल गलत नहीं है। या फिर मेडिकल स्टोर पर अनुभवी फार्मासिस्ट आपकी मदद कर सकते हैं। लेकिन अंदाज़े से दवा लेना ठीक नहीं।
अब आप भी बन सकते हैं ‘Prescription प्रो!’
डॉक्टर की लिखावट कोई जादू नहीं है — बस एक प्रैक्टिस और समझ का खेल है।
थोड़ा ध्यान, थोड़ा टेक्नोलॉजी और थोड़ा आत्मविश्वास लेकर आप अगली बार खुद पर्चा पढ़ पाएंगे।