भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ने जिंक कार्बन ड्राई सेल (बैटरी) की कीमतों के निर्धारण के लिए साँठगाँठ करने के मामले में इस क्षेत्र की तीन कंपनियों एवेरेडी इंडस्ट्रीज इंडिया लिमिटेड, पैनासोनिक एनर्जी इंडिया कंपनी लिमिटेड और इंडो नेशनल लिमिटेड (निप्पो) के साथ ही इस उद्योग के प्रमुख संगठन एआईडीसीएम पर आज कुल 372 करोड़ 58 लाख 85 हजार रुपये का जुर्माना लगाया।
आयोग ने हालांकि बाद में पैनासोनिक और उसके अधिकारियों पर लगाये गये 74.68 करोड़ रुपये के जुर्माने को शत प्रतिशत घटा दिया जबकि एवेरेडी पर लगे 245.07 करोड़ रुपये और निप्पो पर लगे 52.82 करोड़ रुपये के जुर्माने में क्रमश: 30 प्रतिशत और 20 प्रतिशत की कमी गयी। इसके बाद एवेरेडी पर 171.55 करोड़ रुपये और निप्पो पर 42.26 करोड़ रुपये का जुर्माना रह गया। इस तरह से पैनासोनिक पर कोई जुर्माना नहीं लगा।
आयोग ने इस उद्योग के प्रमुख संगठन एसाेसियेशन ऑफ इंडियन ड्राई सेल मैन्युफैक्चरर्स (एआईडीसीएम) पर भी 1.85 लाख रुपये का जुर्माना लगाया।
आयोग ने प्रतिस्पर्धा कानून, 2002 के तहत ये जुर्माने लगाये थे जबकि भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (कम जुर्माना) नियम, 2009 के तहत जुर्माने घटाये हैं। आयोग ने स्वत: संज्ञान लेते हुये ड्राई सेल बनाने वाली कंपनियों के मूल्य निर्धारण मामले की जाँच शुरू की जिसमें इन कंपनियों के साँठगाँठ करने का पता चला। इस मामले में कई छापे मारे गये और दस्तावेज आदि जब्त किये गये जिसके आधार पर इनके साँठगाँठ करने की पुष्टि हुयी थी।