दुनिया में कई टेक कंपनियां हैं, लेकिन Apple जैसी दीवानगी कहीं नहीं दिखती। हर नया प्रोडक्ट लॉन्च होते ही स्टोर्स के बाहर लंबी कतारें लग जाती हैं। लोग घंटों पहले लाइन में खड़े हो जाते हैं। भारत, चीन और अमेरिका—तीनों देश Apple के Ecosystem पर कब्जा जमाने की होड़ में हैं।
भारत में भीड़, अमेरिका-चीन में मुकाबला
दिल्ली में Apple के दूसरे स्टोर के खुलते ही भीड़ उमड़ पड़ी।
अमेरिका और चीन में Apple Ecosystem पूरी तरह फैला हुआ है।
भारत अब Apple का नया मैन्युफैक्चरिंग हब बनता जा रहा है।
Apple की सफलता का असली राज
मजबूत ब्रांड आइडेंटिटी और यूजर एक्सपीरियंस पर पूरा फोकस।
Apple के प्रोडक्ट्स लेने वाला ग्राहक दूसरी कंपनियों की तरफ नहीं देखता।
हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर की बेहतरीन क्वालिटी उसे बाकी कंपनियों से अलग बनाती है।
Apple की शुरुआत: स्टीव जॉब्स का सपना
स्टीव जॉब्स, स्टीव वोजनियाक और रोनाल्ड वेन ने Apple की शुरुआत की।
शुरुआत में Apple-1 (मदरबोर्ड) से कंपनी ने टेक इंडस्ट्री में कदम रखा।
1977 में Apple-2 के जरिए कंपनी को असली पहचान मिली।
दिवालिया होने से खुद को बचाया
Macintosh की असफलता के बाद Apple लगभग खत्म होने वाली थी।
स्टीव जॉब्स को कंपनी से बाहर कर दिया गया था।
NeXT Inc. को खरीदकर Apple ने जॉब्स को फिर से बुलाया और नई शुरुआत की।
स्टीव जॉब्स की वापसी और धमाका
1997 में जॉब्स ने iMac लॉन्च किया और Think Different कैंपेन चलाया।
इसके बाद iPod, iPhone, iPad और MacBook ने टेक दुनिया में धूम मचा दी।
शानदार डिजाइन और यूजर एक्सपीरियंस ने Apple को नंबर 1 बना दिया।
Ecosystem ने Apple को सबसे अलग बनाया
हार्डवेयर, सॉफ्टवेयर और कंटेंट का परफेक्ट तालमेल Apple की ताकत है।
दूसरी कंपनियां सिर्फ डिवाइस बेचती हैं, लेकिन Apple एक एक्सपीरियंस बेचता है।
यूजर एक बार Apple Ecosystem में घुसता है तो बाहर नहीं निकलता।
भारत, चीन और अमेरिका में दंगल
चीन की कंपनियों से मुकाबले के लिए Apple ने भारत में मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाई है।
भारत अब अमेरिका के लिए सबसे बड़ा iPhone सप्लायर बन गया है।
अमेरिका-चीन के तनाव ने Apple को भारत पर फोकस करने के लिए मजबूर किया।
Apple की कमाई में iPhone का दबदबा
इस साल Apple का रेवेन्यू 10% बढ़कर 94 अरब डॉलर हो गया है।
iPhone से 44.5 अरब डॉलर की कमाई हुई।
चीन में बिक्री में बढ़ोतरी ने कंपनी को राहत दी है।
सफलता का सफर और आगे की राह
Apple की कहानी केवल प्रोडक्ट्स की नहीं है, बल्कि एक मजबूत ब्रांड और Ecosystem की है। स्टीव जॉब्स के विजन ने कंपनी को उस मुकाम तक पहुंचाया, जहां अब दुनिया की कोई भी टेक कंपनी Apple के जैसी दीवानगी नहीं बना पाई है।