सर्दी का मौसम जहां सेहत के लिए काफी अच्छा माना जाता है हालांकि इस दौरान शीतलहर के कारण कुछ समस्याएं हो सकती हैं। वहीं गरम कपड़े पहनने के साथ ही कुछ घरेलू उपायों को आजमाकर आप इन समस्याओं से आसानी से बच सकते हैं।
सर्दी के मौसम में कब्ज की समस्या होती है। खास तौर से पाचन संबंधी कारणों से यह समस्या और बढ़ जाती है। इससे बचने के लिए इस मौसम में पानी खूब पीना चाहिए। भोजन के पश्चात जीरा पावडर खाने से पाचन क्रिया भी ठीक रहेगी।
कई लोगों को शीतलहर के कारण सिरदर्द होता है, जो आसानी से कम नहीं होता। ऐसा होने पर दूध में जायफल घिसकर माथे पर इसका लेप करें। इससे काफी जल्दी सिरदर्द में आराम मिलेगा।
सर्दी में त्वचा के साथ-साथ होंठों का फटना आम बात है। फटे होंठों पर कोकम का तेल लगाने से काफी फायदा होता है। इससे होंठों की त्वचा नर्म और मुलायम ही हो जाती है।
सर्द मौसम में एड़ियां फटने की समस्या भी बहुत होती है जिसे बिवाइयां फटना कहते हैं। ऐसा होने पर एड़ियों पर प्याज का पेस्ट या फिर वेसलीन लगाने से आराम मिलेगा।
सर्दियों में प्रायः छाती में बलगम जमा हो जाता है और ऐसा होने पर काफी परेशानी होती है। इसके लिए अंजीर का सेवन करें। इससे बलगम निकलेगा तथा खांसी में राहत मिलेगी।
सर्दी अधिक लग जाने पर बुखार आना भी आम है। इससे बचने के लिए दिन में तीन बार अजवाइन के चूर्ण का प्रयोग करना फायदेमंद होता है। इससे बुखार जल्दी उतर जाएगा।
खांसी, जुकाम, बुखार साथ में होने पर पुदीने के पत्तों की चाय बनाकर शकर या नमक मिलाकर पीने से लाभ होता है। कफ अधिक जमा हो जाने और दमा की परेशानी बढ़ने पर आजवायन के साथ छोटी पीपर और पोस्तदाना का काढ़ा बनाकर पीने से शीघ्र आराम मिलता है।
इस मौसम में अक्सर जोड़ों के दर्द की शिकायत रहती है। इससे निजात पाने के लिए धतूरे के पत्तों पर तेल लगाकर गर्म करें और दर्द वाले स्थान पर बांध दें। इससे दर्द में आराम मिलता है।
सर्दियों में सरसों के तेल में 3-4 लहसुन की कली डालकर पका लें और मालिश करें। इस तेल की मालिश से बदन दर्द में आराम मिलता है और गर्माहट बनी रहती है।